माउस - इंट्रोडक्शन


माउस -
यह हाथ मे पकड़कर चलाई जाने वाली एक इनपुट युक्ति है । यह एक केबल द्वारा CPU से जुड़ा रहता है । इसका उपयोग मोनिटर पर कर्सर कंट्रोल करने में किया जाता है । माउस एक छोटी डिब्बी के आकार का होता है । इसको हाथ में पकड़ कर एक समतल पेड पर सरकाया जाता है । जिसे माउस पेड कहते है । माउस के ऊपर दो बटन भी होते है जिन्हें बायाँ ओर दायां बटन कहा जाता है

क्लिकिंग- माउस के बाएं बटन को एक बार दबाकर छोड़ देने की प्रक्रिया क्लिकिंग कहलाती है ।

डबल क्लिकिंग - जब बाये बटन को जल्दी जल्दी दो बार क्लिक करते है तो उसे डबल क्लिकिंग कहते है

ड्रॉप्टिंग - किसी भी ऑब्जेक्ट पर माउस पॉइंटर लाकर ओर क्लीक करके उस आइकन् सलेक्ट कर एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाना ड्रेगिंग कहलाता है

ड्रेगिंग- किसी भी ऑब्जेक्ट को माउस के बाएं बटन द्वारा एक जगह से दूसरी जगह पॉइंटर के साथ साथ सरकना ड्रेगिंग कहलाता है ।

माउस की विशेषता - 

1. इससे ऑब्जेक्ट ओर ऑप्शन्स को आसानी से सलेक्ट किया जा सकता है ।
2. इसका पॉइंटिंग युक्ति के लिए अधिकतम उओपयोग किया जाता है ।

माउस के प्रकार - माउस मुख्यतः निम्न प्रकार होता है ।

[ ] मेकेनिकल माउस- इस माउस के नीचे की ओर एक बॉल होती है जिसमे कर्सर या पॉइंटर का घुमाव, बॉल के घुमाव के आधार पर होता है ।
[ ] ऑप्टिकल माउस - इस माउस में बॉल के स्थान पर (LED) का प्रयोग किया जाता है इसमे कर्सर का घुमाव लेज़र लाइट द्वारा होता है ।
[ ] वायरलेस माउस- इसमे तारो का उपयोग न होने के कारण इसे वायरलेस माउस कहा जाता है यह redio frequency तकनीक की सहायता से कंप्यूटर को सूचना पहुचाता है

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